UPI Transaction Charges – अगर आप भी UPI के ज़रिए पेमेंट करना पसंद करते हैं और सोचते हैं कि ये हमेशा फ्री रहेगा, तो अब थोड़ा सावधान हो जाइए। अब तक UPI से पेमेंट करने पर कोई चार्ज नहीं लगता था, लेकिन अब ये बदलने जा रहा है। नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) ने कुछ नए नियम लागू किए हैं, जिनके तहत कुछ खास ट्रांजैक्शन पर अब फीस ली जाएगी।
1 अप्रैल 2025 से ये नए नियम लागू हो रहे हैं। खास बात ये है कि हर ट्रांजैक्शन पर नहीं, बल्कि कुछ चुनिंदा तरीकों से और खास अमाउंट के बाद ही ये चार्ज लिया जाएगा। आइए जानते हैं कौन-से ट्रांजैक्शन पर अब UPI चार्ज लगेगा और किन पर नहीं।
किस पर लगेगा UPI चार्ज?
NPCI ने साफ किया है कि यह चार्ज सभी UPI लेन-देन पर नहीं लगेगा। अगर आप अपने बैंक अकाउंट से सीधे किसी के बैंक अकाउंट में पैसे ट्रांसफर कर रहे हैं, तो आपको कोई चार्ज नहीं देना होगा। लेकिन अगर आप Paytm Wallet, PhonePe Wallet जैसे Prepaid Payment Instruments (PPI) का इस्तेमाल कर रहे हैं, और ट्रांजैक्शन की राशि ₹2000 से ज़्यादा है, तो उस पर चार्ज लगेगा।
इसके अलावा अगर आप किसी दुकान या ऑनलाइन शॉपिंग साइट पर QR कोड स्कैन करके भुगतान कर रहे हैं और वो पेमेंट PPI वॉलेट से हो रहा है, तो भी चार्ज लगेगा। इसे P2M यानी Person to Merchant ट्रांजैक्शन कहा जाता है।
कितना लगेगा चार्ज?
चार्ज की दर ट्रांजैक्शन के टाइप पर निर्भर करेगी। आइए एक नजर डालते हैं विभिन्न सेवाओं पर लगने वाले चार्ज पर:
सेवा का प्रकार | चार्ज की दर |
---|---|
पेट्रोल-डीजल भुगतान | 0.5% |
टेलीकॉम और बिजली बिल | 0.7% |
सुपरमार्केट पेमेंट | 0.9% |
बीमा और सरकारी सेवाएं | 1% |
अन्य व्यापारी भुगतान | 1.1% |
हालांकि, एक ट्रांजैक्शन पर अधिकतम चार्ज ₹10 से ₹20 तक ही होगा। यानी, बड़ी राशि पर भी लिमिटेड चार्ज ही देना होगा।
बैंक-टू-बैंक ट्रांसफर अब भी फ्री
अगर आप सीधे अपने बैंक अकाउंट से किसी दूसरे के बैंक अकाउंट में पैसे भेजते हैं, चाहे Google Pay, PhonePe या Paytm से, तो उस पर कोई चार्ज नहीं लगेगा। यानी बैंक-टू-बैंक ट्रांसफर (P2P ट्रांजैक्शन) अभी भी पूरी तरह फ्री रहेगा।
क्यों लगाया गया ये चार्ज?
NPCI का कहना है कि डिजिटल पेमेंट्स के लिए जो टेक्नोलॉजी और नेटवर्क का इस्तेमाल होता है, उसकी एक लागत होती है। इस लागत को पूरा करने और पेमेंट सिस्टम को लंबे समय तक बनाए रखने के लिए यह फैसला लिया गया है। इसके अलावा यह व्यापारिक लेन-देन को व्यवस्थित करने और व्यापारियों को बेहतर सुविधा देने के मकसद से भी किया गया है।
लेकिन NPCI ने यह भी सुनिश्चित किया है कि आम आदमी यानी व्यक्तिगत उपयोगकर्ता और छोटे व्यापारी ज्यादा प्रभावित न हों। इसलिए छोटे ट्रांजैक्शन और छोटे व्यापारियों को छूट दी गई है।
कौन होगा प्रभावित?
व्यक्तिगत उपयोगकर्ता:
अगर आप वॉलेट का इस्तेमाल नहीं करते और केवल बैंक-टू-बैंक ट्रांसफर करते हैं, तो आप पर इस चार्ज का कोई असर नहीं होगा। लेकिन अगर आप PPI वॉलेट जैसे Paytm Wallet, PhonePe Wallet आदि से ₹2000 से ज़्यादा का भुगतान करते हैं, तो अतिरिक्त चार्ज देना होगा।
व्यापारी:
अब व्यापारियों को भी ₹2000 से ऊपर के PPI पेमेंट पर इंटरचेंज फीस देनी होगी। हालांकि छोटे व्यापारियों को इससे राहत दी गई है, ताकि वे डिजिटल पेमेंट अपनाने से पीछे न हटें।
PhonePe, Google Pay, और Paytm क्या कर रहे हैं?
- PhonePe: अगर आप वॉलेट से ₹2000 से ज़्यादा का पेमेंट करते हैं, तो 0.5% से 1.1% तक चार्ज लगेगा। लेकिन बैंक-टू-बैंक ट्रांसफर पर कोई चार्ज नहीं है।
- Google Pay: यहां भी बैंक ट्रांसफर पूरी तरह फ्री है, लेकिन PPI वॉलेट का इस्तेमाल करने पर चार्ज देना होगा।
- Paytm: अगर आप वॉलेट से पेमेंट करते हैं या वॉलेट रिचार्ज करते हैं, तो इंटरचेंज फीस लागू होगी। लेकिन बैंक से बैंक में पैसे भेजना यहां भी फ्री है।
UPI अब भी आम लोगों के लिए एक सुविधाजनक और कम लागत वाला डिजिटल पेमेंट माध्यम बना रहेगा। लेकिन जो लोग वॉलेट का इस्तेमाल ज्यादा करते हैं या व्यापारी हैं, उन्हें अब थोड़ा सजग रहना होगा। बेहतर होगा कि आप यह तय करें कि किस परिस्थिति में वॉलेट से पेमेंट करना है और कब सीधे बैंक से।